सहमा सहमा डरा सा रहता है

108 Viewsसहमा सहमा डरा सा रहता है जाने क्यूँ जी भरा सा रहता है काई सी जम गई…

कोई अटका हुआ है पल शायद

83 Views  कोई अटका हुआ है पल शायद वक़्त में पड़ गया है बल शायद लब पे आई…

रुके रुके से क़दम रुक के बार बार चले

90 Viewsरुके रुके से क़दम रुक के बार बार चले क़रार दे के तिरे दर से बे-क़रार चले…

फूलों की तरह लब खोल कभी

86 Viewsफूलों की तरह लब खोल कभी ख़ुशबू की ज़बाँ में बोल कभी अल्फ़ाज़ परखता रहता है आवाज़…

हर एक ग़म निचोड़ के हर इक बरस जिए

78 Viewsहर एक ग़म निचोड़ के हर इक बरस जिए दो दिन की ज़िंदगी में हज़ारों बरस जिए…

जब भी आँखों में अश्क भर आए

97 Viewsजब भी आँखों में अश्क भर आए लोग कुछ डूबते नज़र आए अपना मेहवर बदल चुकी थी…

तुझ को देखा है जो दरिया ने इधर आते हुए

83 Viewsतुझ को देखा है जो दरिया ने इधर आते हुए कुछ भँवर डूब गए पानी में चकराते…

कोई ख़ामोश ज़ख़्म लगती है

102 Viewsकोई ख़ामोश ज़ख़्म लगती है ज़िंदगी एक नज़्म लगती है बज़्म-ए-याराँ में रहता हूँ तन्हा और तंहाई…

गुलों को सुनना ज़रा तुम सदाएँ भेजी हैं

76 Viewsगुलों को सुनना ज़रा तुम सदाएँ भेजी हैं गुलों के हाथ बहुत सी दुआएँ भेजी हैं जो…

शाम से आज साँस भारी है

85 Viewsशाम से आज साँस भारी है बे-क़रारी सी बे-क़रारी है आप के बा’द हर घड़ी हम ने…